राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस पर भाषण कैसे दे, राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस पर भाषण राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस पर भाषण लिखा हुआ (Speech on National Safety Day 2024 in Hindi, National Safety Day 2024 Speech in Hindi)
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस 2024 की थीम एवं भाषण: भारतीय नागरिकों को सुरक्षा की गंभीरता के प्रति जागरूक करने के लिए भारत में हर वर्ष राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस और सप्ताह मनाया जाता है।
भारत में राष्ट्रीय स्तर पर सुरक्षा दिवस 4 मार्च के दिन मनाया जाता है और इसी दिन से ही राष्ट्रीय सुरक्षा सप्ताह की शुरुआत होती है। 4 मार्च से 10 मार्च की साप्ताहिक अवधि को राष्ट्रीय सुरक्षा सप्ताह के रूप में मनाया जाता है। हर बार राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस एवं सप्ताह एक नई थीम के साथ मनाया जाता है।
इस बार राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस 2024 की थीम ‘Focus On Safety Leadership for ESG Excellence’ निर्धारित की गई है जिसे केंद्र में रखकर इस बार राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस एवं सप्ताह मनाया जा रहा है।
भारत में इस दौरान नागरिकों को सुरक्षा के प्रति जागरूक करने के लिए विभिन्न प्रकार के कार्यक्रम आयोजित किए जाते हैं। इन कार्यक्रमों के दौरान आम जनता को राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस का इतिहास, उद्देश्य और महत्व समझाया जाता है।
इतना ही नहीं सुरक्षा दिवस और सुरक्षा सप्ताह के कार्यक्रमों में राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस पर निबंध और राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस पर भाषण (National Safety Day Speech In Hindi) प्रतियोगिताएं भी आयोजित की जाती हैं।
अगर आप भी राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस 2024 पर भाषण (Speech On National Safety Day 2024 In Hindi) की तलाश कर रहे हैं तो बिल्कुल सही जगह आए है।
विषय–सूची
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस 2024 पर भाषण एवं कुछ महत्वपूर्ण बिंदु (Speech on National Safety Day in Hindi)
लेख का प्रकार | भाषण |
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस क्यों मनाया जाता है? | सुरक्षा के नियमों का पालन करने के लिये जागरुकता लाना |
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस क्या है? | भारतीय नागरिकों की सुरक्षा जागरूकता को समर्पित एक ख़ास दिन |
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस सप्ताह कब है? | 4 मार्च – 11 मार्च 2023 तक |
पहली बार कब शुरु हुआ? | 1972 |
कौन सा दिवस मनाया जाएगा? | 53वां |
इसको मनाने की शुरुआत किसने की | डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन (राष्ट्रपति) |
कहां-कहां मनाया जाता है। | भारत में |
भारतीय राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद् की स्थापना | 4 मार्च 1966 |
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस 2024 की थीम | Safety Leadership for ESG Excellence |
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस पर भाषण (National Safety Day Speech in Hindi)
आप सभी को राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस की हार्दिक शुभकामनाएं!
आज राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस के खास मौके पर आयोजित इस कार्यक्रम में उपस्थित आगंतुकों, शिक्षकों और भाई बंधुओं को मेरी तरफ से अभिवादन और राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस की शुभकामनाएं।
आज इस कार्यक्रम में हम सभी राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस, इसकी आवश्यकता, उद्देश्य और महत्व पर सार्वजनिक चर्चा करने के लिए उपस्थित हुए हैं।
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस भारतीय नागरिकों की सुरक्षा जागरूकता को समर्पित एक ख़ास दिन होता है जिसे हर वर्ष 4 मार्च को राष्ट्रीय स्तर पर मनाया जाता है।
इसकी पहल 4 मार्च 1972 की गई थी जब पहली बार राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस मनाया गया। दरअसल 4 मार्च 1966 को भारतीय राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद् (National Safety Council) की स्थापना की गई थी जिसके उपलक्ष में राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस मनाने के लिए 4 मार्च का दिन चुना गया।
यह एक ऐसा गैर लाभकारी संगठन है जो सुरक्षा के प्रति जागरूकता बढ़ाने के लिए प्रतिबद्ध है। जब इस संगठन की स्थापना हुई तो उस समय इस संगठन में कुल आठ हज़ार सदस्य शामिल थे।
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस और इसके कार्यक्रमों की पहल का श्रेय भारत के तत्कालीन राष्ट्रपति डॉक्टर सर्वपल्ली राधाकृष्णन जी को दिया जाता है। क्योंकि उन्होंने ही औद्योगिक क्षेत्र में सुरक्षा के प्रति जागरूकता की आवश्यकता को देखते हुए सुरक्षा दिवस का आवाहन किया।
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस और राष्ट्रीय सुरक्षा सप्ताह दोनों ने भारत में औद्योगिक सुरक्षा को बढ़ावा देने में अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। इनकी शुरुआत होने के बाद लगातार भारतीय उद्योग के क्षेत्र में होने वाली दुर्घटनाओं में कमी आई है।
आज भारत के लोग सुरक्षा मामलों को गंभीरता से लेते हैं फिर चाहे वह उनकी निजी सुरक्षा हो या फिर राष्ट्र की सुरक्षा हो हर मामले में भारत के नागरिक इस समय सतर्क हो रहे हैं। यह चीजें राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस और सप्ताह के कार्यक्रमों की ही देन है।
आज भारत के लिए केवल सीमा सुरक्षा ही नहीं बल्कि पर्यावरण और नागरिकों की निजी सुरक्षा भी एक बड़ी चुनौती है क्योंकि भारत में लगातार पर्यावरण प्रदूषण और जनसंख्या वृद्धि होती जा रही है।
आज समय की मांग है कि भारत का हर नागरिक अपनी स्वास्थ्य को प्राथमिकता दे ताकि वह स्वस्थ जीवन जी सके और दूसरों की सुरक्षा में भी सहयोग कर सकें।
पर्यावरण और स्वास्थ्य सुरक्षा के अलावा समाज में नारियों के अधिकार की सुरक्षा जिम्मेदारियां भी हमारी हैं। हमारा कर्तव्य है कि हम उनके अधिकारों से उन्हें परिचित कराएं और उनकी सुरक्षा में अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभाएं।
देश में बढ़ती जनसंख्या के कारण खाद्य पदार्थों की उपलब्धता और बेरोजगारी की समस्या भी बहुत तेजी से बढ़ रही है। भारत में भारतीय नागरिकों के लिए एक सुरक्षित परिवेश बनाने के लिए हमें इन सभी मुद्दों पर विचार विमर्श करना चाहिए और सुरक्षा के मामलों में सही कदम उठाना चाहिए।
सुरक्षा के प्रति जागरूक होने के लिए हमें सबसे पहले अपने अधिकारों को बेहतर ढंग से जान लेना चाहिए क्योंकि कानूनी अधिकार हमारी और आपकी सुरक्षा में बेहद अहम भूमिका निभाते हैं।
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस का मुख्य उद्देश्य यही है की विभिन्न प्रकार के जागरूकता अभियान चलाकर लोगों को उनकी सुरक्षा के प्रति सचेत किया जा सके।
कई बार लोगों की जागरूक ना होने के कारण लोग आसानी से दुर्घटना का शिकार हो जाते हैं ऐसे में निजी सुरक्षा के प्रति जागरूकता बेहद आवश्यक है। आज प्राकृतिक आपदाएं चरम पर हैं। आए दिनों भूकंप, महामारी और सड़क दुर्घटनाएं बढ़ती जा रही हैं क्योंकि लोग इनके प्रति जागरूक नहीं हैं उन्हें नहीं पता कि इन परिस्थितियों में क्या करना चाहिए और क्या नहीं?
रोजाना हजारों लोग सड़क सुरक्षा में चूक की वजह से दुर्घटनाओं का शिकार बन जाते हैं और उन्हें अपनी जान गंवानी पड़ती है सिर्फ इसलिए क्योंकि वह अपनी सड़क सुरक्षा को लेकर जागरूक नहीं हैं। लोगों को यह नहीं पता कि सड़क सुरक्षा में छोटी सी लापरवाही करने की वजह से उनकी जान भी जा सकती है।
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस के कार्यक्रम इसलिए आयोजित किए जाते हैं ताकि लोगों को न केवल सुरक्षा की गंभीरता के प्रति जागरूक किया जा सके बल्कि उनके भीतर सुरक्षा में परस्पर सहयोग की भूमिका भी विकसित की जा सके।
अपने भाषण का समापन करने से पहले मैं एक बार भारत के उन वीर सैनिकों को भी धन्यवाद देना चाहूंगा जो राष्ट्र की सुना सुरक्षा में अपने प्राणों की चिंता किए बिना डटे रहते हैं।
उन्हीं की वजह से आज हमारे राष्ट्र की सीमाएं सुरक्षित हैं और इस राष्ट्र में रहने वाले हम लोग भी। इसके अलावा मैं कार्यक्रम में उपस्थित सभी से अनुरोध करना चाहूंगा कि आपको अपनी सुरक्षा की जिम्मेदारियां स्वयं उठानी होगी और दूसरों की सुरक्षा में भी सहयोग देना होगा।
तभी जाकर हम एक स्वच्छ सुंदर और सुनहरे भविष्य की कल्पना कर पाएंगे। एक दूसरे की सुरक्षा में हाथ बढ़ाकर हमें राष्ट्रीय सुरक्षा के वह मिसाल कायम करनी है ताकि भारत की सरहद पर नजर उठाने से पहले दुश्मन सौ बार सोचे।
आज हमारा पूरा समाज भाषा, सांप्रदायिकता और क्षेत्रवाद से जकड़ा हुआ है जिसके कारण हम एक दूसरे के साथ भी सुरक्षित महसूस नहीं कर पाते, तो ऐसे में बाहरी लोगों से सुरक्षा का कोई औचित्य ही नहीं है।
हमें सबसे पहले भारत में आम नागरिकों के लिए एक सुरक्षित परिवेश बनाने की आवश्यकता है ताकि लोग एक दूसरे के साथ सुरक्षित महसूस करें और एक दूसरे की सुरक्षा में हाथ बताएं तभी जाकर हम बाहरी कारकों से अपने राष्ट्र की सुरक्षा कर सकेंगे।
आप सभी लोगों ने मुझे आज राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस के इस कार्यक्रम में भाषण देने का अवसर दिया इसके लिए मैं आप सभी का आभार व्यक्त करता हूं।
धन्यवाद!
FAQ
4 मार्च के दिन कौन सा दिवस मनाया जाता है?
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस मनाने की शुरुआत किसने की थी?
4 मार्च 1972 को सबसे पहले राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद द्वारा राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस को मनाया गया था।
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस को मनाने का मुख्य उद्देश्य क्या है?
राष्ट्रीय सुरक्षा दिवस का मुख्य उद्देश्य विभिन्न प्रकार के जागरूकता अभियान चलाकर लोगों को उनकी सुरक्षा एवं राष्ट्र कीे सुरक्षा के प्रति सचेत करना है।
What is the theme of National Safety Day 2024
Focus On Safety Leadership for ESG Excellence